CAA Rules 2024 – CAA vs ILP : नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 भारत में लागू हो गया है, लेकिन पूर्वोत्तर के आदिवासी इलाकों को इससे छूट दी गई है। जानिए इनर लाइन परमिट (ILP) क्या है और यह CAA से कैसे जुड़ा है।
नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 (CAA) 10 जनवरी 2020 से देश में लागू हो गया है। यह अधिनियम बांग्लादेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान से 31 दिसंबर 2014 तक भारत आए गैर-मुस्लिम अल्पसंख्यक (हिंदू, जैन, ईसाई, सिख, बौद्ध और पारसी) समुदाय को नागरिकता देने का प्रावधान करता है।
हालांकि, पूर्वोत्तर के आदिवासी इलाकों को सीएए के दायरे से बाहर रखा गया है। यानी पूर्वोत्तर राज्यों के अधिकांश आदिवासी इलाकों में सीएए लागू नहीं किया जाएगा। इनमें वे क्षेत्र भी शामिल हैं, जिन्हें संविधान की छठी अनुसूची के तहत विशेष दर्जा हासिल है।
भारत के कौन कौन से क्षेत्र में CAA नहीं लागू होगा?
कानून के मुताबिक, इसे उन सभी पूर्वोत्तर राज्यों में लागू नहीं किया जाएगा, जहां देश के अन्य हिस्सों के लोगों को यात्रा के लिए इनर लाइन परमिट (ILP) की जरूरत होती है। ILP अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, मिजोरम, मणिपुर और सिक्किम में लागू है। इस व्यवस्था को 1873 यानी ब्रिटिश शासनकाल में लागू किया गया था। यह परमिट सिस्टम भारत की अंतर्राष्ट्रीय सीमाओं के पास विशिष्ट क्षेत्रों में लोगों की आवाजाही को नियंत्रित करने में मदद करती है।
भारतीय संविधान की छठी अनुसूची कुछ राज्यों के आदिवासी क्षेत्रों को विशेष दर्जा प्रदान करती है। इन क्षेत्रों में स्वायत्त परिषदें स्थापित की गई हैं, जिन्हें इन क्षेत्रों में कानून बनाने और प्रशासन चलाने का अधिकार है।
पूर्वोत्तर में सीएए लागू नहीं होने के कारण:
- ILP: पूर्वोत्तर के जिन राज्यों में ILP लागू है, वहां CAA लागू नहीं किया जाएगा। ऐसा इसलिए है क्योंकि ILP पहले से ही इन क्षेत्रों में बाहरी लोगों की आवाजाही को नियंत्रित करता है।
- आदिवासियों की रक्षा: इन क्षेत्रों में आदिवासी समुदायों की आबादी काफ़ी अधिक है। सीएए से इन समुदायों की संस्कृति और पहचान पर खतरा पैदा होने की आशंका है।
- राज्य सरकारों की सहमति: इन क्षेत्रों में लागू होने वाले कानूनों के लिए राज्य सरकारों की सहमति आवश्यक है। पूर्वोत्तर राज्यों की सरकारों ने सीएए का विरोध किया था।
- छठी अनुसूची: छठी अनुसूची के तहत स्वायत्त क्षेत्रों में सीएए लागू नहीं किया जाएगा। ऐसा इसलिए है क्योंकि इन क्षेत्रों में आदिवासी समुदायों को अपनी संस्कृति और परंपराओं को बचाने के लिए विशेष अधिकार दिए गए हैं।
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इनर लाइन परमिट (ILP) क्या है?
इनर लाइन परमिट (ILP) एक आधिकारिक यात्रा दस्तावेज है जो भारतीय नागरिकों को सीमित समय के लिए संरक्षित क्षेत्र में प्रवेश करने की अनुमति देता है। यह दस्तावेज संबंधित राज्य सरकार द्वारा जारी किया जाता है।
ILP प्रणाली कब और क्यों लागू की गई थी?
ILP एक विशेष परमिट है जो भारत के कुछ राज्यों में प्रवेश करने के लिए आवश्यक होता है। यह परमिट प्रणाली 1873 में ब्रिटिश शासनकाल के दौरान लागू की गई थी। इसका उद्देश्य भारत की अंतर्राष्ट्रीय सीमाओं के पास विशिष्ट क्षेत्रों में लोगों की आवाजाही को नियंत्रित करना और स्थानीय आदिवासी समुदायों की संस्कृति और परंपराओं को बचाना था।
ILP प्रणाली कैसे काम करती है?
आईएलपी प्रणाली के तहत, बाहरी लोगों को संरक्षित क्षेत्र में प्रवेश करने के लिए परमिट प्राप्त करना होता है। परमिट विभिन्न उद्देश्यों के लिए जारी किए जाते हैं, जैसे कि पर्यटन, व्यापार, शिक्षा और रोजगार।
ILP वाले राज्य:
- अरुणाचल प्रदेश
- मिजोरम
- नागालैंड
- मणिपुर
- सिक्किम
CAA Vs ILP
CAA 2019 के तहत, बांग्लादेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान से 31 दिसंबर 2014 से पहले आए गैर-मुस्लिम अल्पसंख्यकों को नागरिकता दी जाएगी।
हालांकि, यह अधिनियम पूर्वोत्तर के आदिवासी इलाकों में लागू नहीं होगा। इसका कारण यह है कि इन इलाकों में ILP प्रणाली लागू है।
लेकिन, यह अधिनियम ILP वाले राज्य जैसे कि अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, मिजोरम, मणिपुर और सिक्किम में लागू नहीं होगा क्योंकि इन इलाकों में ILP प्रणाली लागू है। और इन क्षेत्रों में बाहरी लोगों की आवाजाही पहले से ही प्रतिबंधित है। ILP प्रणाली यह सुनिश्चित करती है कि केवल वे लोग ही इन क्षेत्रों में प्रवेश कर सकें जिनके पास वैध परमिट है।
ILP के लिए आवेदन करने के लिए आवश्यक दस्तावेज
- आवेदन पत्र: ILP के लिए आवेदन पत्र भारत सरकार की वेबसाइट से डाउनलोड किया जा सकता है या ILP जारी करने वाले कार्यालय से प्राप्त किया जा सकता है।
- पासपोर्ट आकार का फोटो: आवेदन पत्र के साथ दो पासपोर्ट आकार के फोटो लगाने होंगे।
- पहचान पत्र: भारतीय नागरिकों को अपना आधार कार्ड, पैन कार्ड, या मतदाता पहचान पत्र जमा करना होगा। विदेशी नागरिकों को अपना पासपोर्ट और वीजा जमा करना होगा।
- पते का प्रमाण: भारतीय नागरिकों को अपना बिजली बिल, पानी का बिल, या राशन कार्ड जमा करना होगा। विदेशी नागरिकों को अपने होटल के बुकिंग का प्रमाण या किसी भारतीय नागरिक का शपथ पत्र जमा करना होगा।
- अन्य दस्तावेज: कुछ राज्यों में ILP के लिए अतिरिक्त दस्तावेजों की आवश्यकता हो सकती है। उदाहरण के लिए, सिक्किम में ILP के लिए आपको एक चिकित्सा प्रमाण पत्र जमा करना होगा।
- अन्य दस्तावेज:
- यदि आप छात्र हैं, तो छात्र प्रमाण पत्र।
- यदि आप व्यापारी हैं, तो व्यापारिक लाइसेंस।
- यदि आप पर्यटक हैं, तो होटल बुकिंग या यात्रा कार्यक्रम।
ILP Fees : इनर लाइन परमिट शुल्क
ILP के लिए शुल्क राज्य-दर-राज्य भिन्न होता है। भारतीय नागरिकों के लिए ILP शुल्क आमतौर पर 10 रुपये से 100 रुपये तक होता है। विदेशी नागरिकों के लिए ILP शुल्क आमतौर पर 200 रुपये से 1000 रुपये तक होता है।
- सिक्किम में ILP मुफ्त है।
- अरुणाचल प्रदेश में ILP के लिए शुल्क ₹100 है।
- मिजोरम में ILP के लिए शुल्क ₹100 है।
- मणिपुर में ILP के लिए शुल्क ₹50 है।
- नागालैंड में ILP के लिए शुल्क ₹20 है।
ILP Validity : इनर लाइन परमिट की वैधता:
ILP की वैधता राज्य-दर-राज्य भिन्न होती है। आमतौर पर, ILP 15 दिनों से 1 साल तक के लिए वैध होता है।
- सिक्किम में ILP 15 दिनों के लिए वैध है।
- अरुणाचल प्रदेश में ILP 1 महीने के लिए वैध है।
- मिजोरम में ILP 3 महीने के लिए वैध है।
- मणिपुर में ILP 3 महीने के लिए वैध है।
- नागालैंड में ILP 1 साल के लिए वैध है।
ILP के लिए आवेदन कैसे करें:
ILP के लिए आवेदन ऑनलाइन या ऑफलाइन किया जा सकता है।
ILP Online Apply
- आपको संबंधित राज्य सरकार की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर ILP के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।
- आपको अपनी यात्रा की तारीखें, यात्रा का उद्देश्य, और आपके द्वारा जाने वाले स्थानों के बारे में जानकारी प्रदान करनी होगी।
- आपको अपनी पहचान और पते के प्रमाण अपलोड करने होंगे।
- आपको आवेदन शुल्क का भुगतान करना होगा।
- आपको परमिट प्राप्त करने में कुछ दिन लग सकते हैं।
निष्कर्ष:
नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) 2019 भारत में लागू हो गया है, लेकिन पूर्वोत्तर के आदिवासी इलाकों को इससे छूट दी गई है। यह छूट इनर लाइन परमिट (ILP) प्रणाली के कारण दी गई है। आईएलपी प्रणाली का उद्देश्य आदिवासी समुदायों को बाहरी लोगों से बचाना है।
तो दोस्तों, यह थी इनर लाइन परमिट (ILP) से संबंधित पूरी जानकारी। अगर आपको यह जानकारी पसंद आई हो, तो कृपया इसे अपने दोस्तों और परिवार के साथ शेयर करें। ऐसे ही खबरे पढ़ने के लिए niralatimes। com के साथ जुड़े रहे।